उपराष्ट्रपति : परिचय, संवैधानिक प्रावधान, निर्वाचन, कार्य, शक्तियां, उपराष्ट्रपतियों की सूची

  • भारत के उपराष्ट्रपति का पद वरीयता क्रम में देश का दूसरा उच्चतम संवैधानिक पद है।
  • भारत के संविधान में उपराष्ट्रपति का पद अमेरिका के संविधान से लिया गया है।
  • भारत में उपराष्ट्रपति राज्य सभा का पदेन सभापति होता है, तथा अमेरिका में उपराष्ट्रपति सीनेट का पदेन सभापति होता है।
  • अमेरिका के राष्ट्रपति का पद रिक्त होने पर उपराष्ट्रपति उसके शेष कार्यकाल को पूरा करता है, जबकि भारत में राष्ट्रपति का पद रिक्त होने की स्थिति में उपराष्ट्रपति नए राष्ट्रपति के चुनाव तक ही उसके पद पर बना रह सकता है।

भारत में नामअमेरिका में नाम
संसदसंसदकांग्रेस
ऊपरी सदनराज्य सभासंघीय सभा (सीनेट)
निचला सदनलोक सभाप्रतिनिधि सभा

राज्य सभा के सभापति (पदेन) के रूप में उपराष्ट्रपति (अनुच्छेद 64) :-

उपराष्ट्रपति राज्य सभा का पदेन सभापति होता है और वह लाभ का कोई अन्य पद धारण नहीं करता है। जिस किसी ऐसी अवधि के दौरान उपराष्ट्रपति राष्ट्रपति के रूप में कार्य करता है या राष्ट्रपति के कृत्यों का निर्वहन करता है, उस अवधि के दौरान वह राज्य सभा के सभापति के पद के कर्तव्यों का पालन नहीं करता है और वह राज्य सभा के सभापति को संदेय किसी वेतन या भत्ते का हकदार नहीं होता।

कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में उपराष्ट्रपति (अनुच्छेद 65) :-

उपराष्ट्रपति राष्ट्रपति की मृत्यु, पदत्याग, या बर्खास्तगी या अन्य कारणों से हुई राष्ट्रपति के पद की नैमित्तिक रिक्ति की स्थिति में नए राष्ट्रपति का यथाशीघ्र निर्वाचन होने तक, जो किसी भी स्थिति में रिक्ति होने की तारीख से छह माह के बाद नहीं होगा, राष्ट्रपति के रूप में कार्य करता है। जब राष्ट्रपति अनुपस्थिति, बीमारी या अन्य किसी कारण से अपने कृत्यों का निर्वहन करने में असमर्थ हो, तब उपराष्ट्रपति द्वारा अपना कार्यभार पुनः ग्रहण करने तक उसके कृत्यों का निर्वहन करता है। इस अवधि के दौरान, उप-राष्ट्रपति को राष्ट्रपति की सभी शक्तियां, उन्मुक्तियां और विशेषाधिकार प्राप्त होते हैं और वह राष्ट्रपति को संदेह परिलब्धियां तथा भत्ते प्राप्त करता है।

भागअनुच्छेदप्रावधान/उल्लेख
563भारत का एक उपराष्ट्रपति होगा।
564उपराष्ट्रपति राज्यसभा का पदेन सभापति होगा।
565राष्ट्रपति की अनुपस्थिति में उपराष्ट्रपति राष्ट्रपति के कर्तव्यों का निर्वहन करेगा।
566योग्यताएं, शर्तें एवं निर्वाचन
567कार्यकाल एवं पद से हटाने की प्रक्रिया
568 (2)𑇐 यदि उपराष्ट्रपति का पद (मृत्यु, त्यागपत्र, पद से हटाए जाने के कारण) रिक्त हो जाए तो यथाशीघ्र उपराष्ट्रपति का निर्वाचन किया जाना चाहिए।
𑇐 उपराष्ट्रपति का पद रिक्त होने पर उपराष्ट्रपति के निर्वाचन में राष्ट्रपति की भाँति 6 माह की बाध्यता नहीं होती है।
𑇐 उपराष्ट्रपति का कार्यकाल पूर्ण होने से पूर्व ही अगले उपराष्ट्रपति का चुनाव कर लिया जाना चाहिए।
569शपथ
570𑇐 उपराष्ट्रपति अन्य आकस्मिक स्थितियों में राष्ट्रपति के कर्तव्यों का निर्वहन करेगा।
𑇐 यदि राष्ट्रपति व उपराष्ट्रपति दोनों ही पद रिक्त हो तो ऐसी स्थिति में राष्ट्रपति के कर्तव्यों का निर्वहन करने के लिए संसद कोई प्रावधान करेगी।
𑇐 सन् 1969 में संसद ने राष्ट्रपति व उपराष्ट्रपति दोनों ही पद रिक्त होने की स्थिति के लिए प्रावधान किया की ऐसी स्थित में सर्वोच्च न्यायालय का मुख्य न्यायाधीश राष्ट्रपति के कर्तव्यों का निर्वहन करेगा।
𑇐 यदि सर्वोच्च न्यायालय का मुख्य न्यायाधीश का पद रिक्त हो तो सर्वोच्च न्यायालय का वरिष्ठतम न्यायाधीश राष्ट्रपति के कर्तव्यों का निर्वहन करेगा।
571राष्ट्रपति व उपराष्ट्रपति के चुनावों से संबंधित विवादों की सुनवाई केवल सर्वोच्च न्यायालय में ही की जा सकती है।

प्रावधानउपराष्ट्रपति
योग्यताएं या शर्तेंभाग-5, अनुच्छेद-66वह भारत का नागरिक हो।
वह 35 वर्ष की आयु पूरी कर चुका हो।
उसमें राज्यसभा का सदस्य चुने जाने जितनी योग्यता होना चाहिए।
वह किसी भी लाभ के पद पर न हो।
कार्यकालभाग-5, अनुच्छेद-67शपथ ग्रहण से 5 वर्ष तक
(वह इस अवधि के समाप्त हो जाने पर भी अपने उत्तराधिकारी के पद ग्रहण करने तक, पद पर बने रह सकते हैं।)
त्याग पत्रभाग-5, अनुच्छेद-68राष्ट्रपति
(त्याग पत्र उस तारीख से प्रभावी हो जाता है जिससे उसे स्वीकार किया जाता है।)
शपथभग-5, अनुच्छेद 69राष्ट्रपति द्वारा

अनुच्छेद 67 :-

  • उपराष्ट्रपति को पद से हटाने के कारण का उल्लेख संविधान में नहीं किया गया है।
  • उपराष्ट्रपति को हटाने का प्रस्ताव केवल राज्यसभा में पेश किया जा सकता है अर्थात् प्रस्ताव पहले राज्यसभा में पेश किया जाता है बाद में लोकसभा में भी पेश किया जा सकता है।
  • 14 दिन के नोटिस के बाद सदन प्रस्ताव पर चर्चा करता है।
  • प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान उपराष्ट्रपति पीठासीन अधिकारी नहीं हो सकता है।
  • प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान उपराष्ट्रपति सदन की कार्यवाही में भाग ले सकता है और अपना पक्ष भी रख सकता है। लेकिन मतदान नहीं कर सकता है क्योंकि उपराष्ट्रपति राज्यसभा का सदस्य नहीं है।
  • यह प्रस्ताव राज्यसभा में तत्कालीन सदस्यों के प्रभावी बहुमत से पारित होना चाहिए।
  • प्रस्ताव राज्यसभा में पारित होने के बाद लोकसभा में भेजा जाता है।
  • प्रस्ताव लोकसभा में साधारण बहुमत से अनुमोदित किया जाना चाहिए।

  • भारत निर्वाचन आयोग को, संविधान के अनुच्छेद 324 के तहत, भारत के उपराष्ट्रपति पद के लिए निर्वाचन कराने का अधिदेश प्राप्त है।
  • भारत के उपराष्ट्रपति पद का निर्वाचन राष्ट्रपतीय एवं उपराष्ट्रपतीय निर्वाचन अधिनियम, 1952 और उसके अधीन बनाए गए नियमों, अर्थात् राष्ट्रपतीय एवं उपराष्ट्रपति निर्वाचन नियम, 1974 द्वारा शासित होता है।

उपराष्ट्रपति का निर्वाचन मण्डल :-

  • उपराष्ट्रपति के निर्वाचन में लोकसभा व राज्यसभा के सभी सदस्य (निर्वाचित व मनोनित) भाग लेते हैं।

उपराष्ट्रपति के पद के लिए निर्वाचन पद्धति :-

  • उपराष्ट्रपति के पद के लिए आनुपातिक प्रतिनिधित्व पद्धति के एकल संक्रमणीय मत द्वारा उपराष्ट्रपति को विजय के लिए 50%+1 मत की आवश्यकता होती है।
  • उपराष्ट्रपति के चुनाव में व्हिप (Whip) जारी नहीं किया जा सकता है।
  • उपराष्ट्रपति के चुनाव बैलेट पेपर से होते हैं।
  • उपराष्ट्रपति के चुनाव में गुप्त मतदान होते हैं।

उपराष्ट्रपति निर्वाचन सूची

क्र. सं.निर्वाचन वर्षविजयी उम्मीदवार
(प्राप्त मत)
मुख्य प्रतिद्वंदी
(प्राप्त मत)
कुल मतदान
(सांसद)
(वैद्य + अवैध)
विशेषताएं
11952डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन𑇐 इसमें 715 निर्वाचकों के नाम शामिल थे।
𑇐 यह निर्विरोध चुने गए।
𑇐 कारण- इस समय दो उम्मीदवारों ने नामांकन पत्र दाखिल किया जिसमें से जनाब शेख़ खादिर हुसैन का नामांकन खारिज कर दिया गया।
𑇐 एकमात्र उम्मीदवार होने के नाते, डॉ. एस. राधाकृष्णन को उपराष्ट्रपति पद के लिए निर्विरोध निर्वाचित घोषित किया गया था।
21957डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन𑇐 यह निर्विरोध चुने गए।
𑇐 निर्वाचन मंडल में लोकसभा और राज्यसभा के 735 सदस्य शामिल थे।
𑇐 कारण- इस समय डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन एकमात्र उम्मीदवार थे।
31962डॉ. जाकिर हुसैन
(568)
श्री एन. सी. सामंतसिंहर
(14)
596
(582 + 14)
𑇐 2 उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में लोकसभा और राज्यसभा के 745 सदस्य थे।
𑇐 निर्वाचन मंडल के 745 में से 596 सदस्यों ने मतदान किया (80%)
41967श्री वी.वी. गिरी
(483)
प्रो. हबीब
(193)
679
(676 + 3)
𑇐 2 उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में संसद के 749 सदस्य शामिल थे।
51969श्री जी. एस. पाठक
(400)
एच. वी. कामथ
(156)
𑇐 6 उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में संसद के 759 सदस्य शामिल थे।
𑇐 श्री वी. वी. गिरी की पदावधि 12-05-1972 तक थी तथापि, दिनांक 03-05-1969 को भारत के तीसरे राष्ट्रपति डॉ. जाकिर हुसैन का निधन हो गया और उपराष्ट्रपति श्री. वी. वी. गिरी ने कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में पद ग्रहण किया। इसके पश्चात् श्री वी. वी. गिरी ने 20 जुलाई 1969 को राष्ट्रपति निर्वाचन लड़ने के लिए कार्यवाहक राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति पद से इस्तीफा दे दिया। दोनों पद रिक्त होने के कारण इस समय निर्वाचन करवाया गया।
61974श्री बी. डी. ज़त्ती
(521)
श्री एन. ई. होरो
(141)
672
(662 + 10)
𑇐 2 उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में संसद के 767 सदस्य शामिल थे।
71979श्री मोहम्मद हिदायतुल्ला𑇐 यह निर्विरोध चुने गए।
81984श्री रामास्वामी वेंकटरमन
(508)
श्री बापू चंद्रसेन कांबले
(207)
745
(715 + 30)
𑇐 दो उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में संसद के 788 सदस्य शामिल थे।
91987डॉ. शंकर दयाल शर्मा𑇐 यह निर्विरोध चुने गए।
𑇐 इस समय कुल 27 नामांकन पत्र दाखिल किए गए जिसमें से 26 रद्द कर दिए गए।
𑇐 श्री आर. वेंकटरमन की उपराष्ट्रपति की पदावधि 30-08-1989 तक थी। तथापि, उन्हें 16-07-1987 को भारत के राष्ट्रपति के रूप में निर्वाचित किया गया था और उन्होंने 25-07-1987 को उपराष्ट्रपति के रूप में अपना इस्तीफा सौंप दिया था।
𑇐 पद रिक्त होने के कारण निर्वाचन करवाया गया।
𑇐 निर्वाचन मंडल में कुल 790 सदस्य थे। (लोकसभा-545 और राज्यसभा-245)
101992श्री के. आर. नारायणन
(700)
श्री काका जोगिन्दर सिंह उर्फ धरती पकड़
(1)
711
(701 + 10)
𑇐 दो उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में कुल 790 सदस्य थे (लोक सभा-545 और राज्य सभा-245)
111997श्री कृष्ण कांत
(441)
श्री सुरजीत सिंह बरनाला
(273)
760
(714 + 46)
𑇐 दो उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में कुल 790 सदस्य थे (लोक सभा-545 और राज्य सभा-245)
122002श्री भैरों सिंह शेखावत
(454)
श्री सुशील कुमार शिंदे
(305)
766
(759 + 7)
𑇐 दो उम्मीदावर
𑇐 निर्वाचन मंडल में कुल 790 सदस्य थे (लोक सभा-545 और राज्य सभा-245)
𑇐 भारत के उपराष्ट्रपति श्री कृष्ण कांत की पदावधि 20-08-2002 को समाप्त होनी थी। तथापि, उनका निधन 27-08-2002 को हो गया और रिक्ति को भरने के लिए निर्वाचन आयोजित किए गए थे।
132007मो. हामिद अंसारी
(455)
डॉ. (श्रीमती) नजमा ए. हेपतुल्ला
(222)
762
(752 + 10)
𑇐 3 उम्मीदावर
𑇐 तीसरे उम्मीदवार श्री रशीद मसूद को 75 मत मिले।
𑇐 निर्वाचन मंडल में कुल 790 सदस्य थे (लोक सभा-545 और राज्य सभा-245)
142012श्री एम. हामिद अंसारी
(490)
श्री जसवंत सिंह
(238)
736
(728 + 8)
𑇐 2 उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में कुल 790 सदस्य थे (लोक सभा-545 और राज्य सभा-245)
152017श्री एम. वेंकैया नायडू
(516)
श्री गोपालाकृष्णा गांधी
(244)
771
(760 + 11)
𑇐 दो उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में कुल 790 सदस्य थे (लोक सभा-545 और राज्य सभा-245) कुल 790 सीटों में, 785 सदस्य मतदान के लिए पात्र पाए गए क्योंकि मतदान के समय 4 रिक्तियां थी और बिहार से श्री छेदी पासवान, संसद सदस्य, लोक सभा को उपराष्ट्रपतीय निर्वाचन-2017 में मतदान करने से रोक दिया गया था।
162022श्री जगदीप धनखड़
(528)
श्रीमती मारग्रेट अल्वा
(182)
725
(710 + 15)
𑇐 2 उम्मीदवार
𑇐 निर्वाचन मंडल में कुल 788 सदस्य थे (लोक सभा-543 और राज्य सभा-245) कुल 788 में, 780 सदस्य मतदान के लिए पात्र पाए गए क्योंकि मतदान के समय 05 निर्वाचित सीटों (जम्मू और कश्मीर संघ राज्य-क्षेत्र से 04 और त्रिपुरा से 01) के साथ-साथ राज्य सभा की 03 नामित सीटें उस समय रिक्त थीं।
172025श्री सी. पी. राधाकृष्णन
(452)
श्री बी. सुदर्शन रेड्डी
(श्री बुचिरेड्डी सुदर्शन रेड्डी)
(300)
𑇐 2 उम्मीदवार

उपराष्ट्रपति निर्वाचन 2025 :-

  • अधिसूचना- 07 अगस्त, 2025
  • नाम-निर्देशन करने की अंतिम तिथि- 21 अगस्त, 2025
  • नाम-निर्देशन की संवीक्षा की तिथि- 22 अगस्त, 2025
  • अभ्यर्थिताएं वापस लेने की अंतिम तिथि- 25 अगस्त, 2025
  • निर्वाचन तिथि- 09 सितम्बर, 2025
  • मतगणना तिथि- 09 सितम्बर, 2025
  • उम्मीदवार (2)-
    1. NDA गठबंधन- श्री सी.पी. राधाकृष्णन
    2. INDIA गठबंधन- बी. सुदर्शन रेड्डी/श्री बुचिरेड्डी सुदर्शन रेड्डी (पूर्व न्यायाधीश, सर्वोच्च न्यायालय)
  • श्री सी. पी. राधाकृष्णन भारत के 15वें उपराष्ट्रपति बने।

क्र. सं.नामकार्यकालविशेषताएं
1डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन13-05-1952
से
12-05-1957
𑇐 भारत रत्न- 1954
डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन13-05-1957
से
12-05-1962
𑇐 राष्ट्रपति- 13-05-1962 से 12-05-1967
2डॉ. जाकिर हुसैन13-05-1962
से
12-05-1967
𑇐 पद्म विभूषण- 1954
𑇐 राज्यपाल (बिहार)- 1957 से 1962
𑇐 भारत रत्न- 1963
𑇐 राष्ट्रपति- 13-05-1967 से 03-05-1969
3श्री वी.वी. गिरि
(श्री वराहगिरि वेंकट गिरि)
12-05-1967
से
03-05-1969
𑇐 राज्यपाल (उत्तर प्रदेश)- 1957 से 1960
𑇐 राज्यपाल (केरल)- 1960 से 1965
𑇐 राज्यपाल (मैसूर)- 1965 से 1967
𑇐 कार्यवाहक राष्ट्रपति- 03-05-1969 से 19-07-1969
𑇐 राष्ट्रपति- 24-08-1969 से 23-08-1974
𑇐 भारत रत्न- 1975
4श्री गोपाल स्वरूप पाठक31-08-1969
से
30-08-1974
𑇐 न्यायाधीश (इलाहाबाद उच्च न्यायालय)- 1945 से 1946
𑇐 राज्यपाल (मैसूर)- 13-05-1967 से 31-08-1969
5श्री बी डी ज़त्ति
(श्री बासप्पा दानप्पा जत्ती)
31-08-1974
से
30-08-1979
𑇐 उपराज्यपाल (पांडिचेरी)- 1968 से 1972
𑇐 राज्यपाल (उड़ीसा)- 1972 से 1974
𑇐 कार्यवाहक राष्ट्रपति- 12-02-1977 से 24-07-1977
6श्री एम हिदायतुल्ला
(श्री मोहम्मद हिदायतुल्लाह)
31-08-1979
से
30-08-1984
𑇐 मुख्य न्यायाधीश (नागपुर उच्च न्यायालय)- 1954 से 1956
𑇐 मुख्य न्यायाधीश (मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय)- 1956 से 1958
𑇐 भारत के मुख्य न्यायाधीश- 1968 से 1970
𑇐 कार्यवाहक राष्ट्रपति- 20-07-1969 से 23-08-1969
𑇐 कार्यवाहक राष्ट्रपति- 06-10-1982 से 31-10-1982
7श्री आर वेंकटरमन31-08-1984
से
25-07-1987
𑇐 केन्द्रीय मंत्री (वित्त एवं रक्षा मंत्रालय)- 1980 से 1984
𑇐 राष्ट्रपति- 25-07-1987 से 25-07-1992
8डॉ. शंकर दयाल शर्मा03-09-1987
से
24-07-1992
𑇐 केन्द्रीय संचार मंत्री- 1974 से 1977
𑇐 राज्यपाल (आंध्र प्रदेश)- 1984 से 1985
𑇐 राज्यपाल (पंजाब)- 1985 से 1986
𑇐 राज्यपाल (महाराष्ट्र)- 1986 से 1987
𑇐 राष्ट्रपति- 25-07-1992 से 25-07-1997
9श्री के. आर. नारायणन21-08-1992
से
24-07-1997
𑇐 राष्ट्रपति- 25-07-1997 से 25-07-2002
10श्री कृष्णकांत21-08-1997
से
27-07-2002
𑇐 राज्यपाल (आंध्र प्रदेश)- 07-02-1990 से 21-08-1997
𑇐 राज्यपाल (तमिलनाडु- अतिरिक्त प्रभार)- 22-12-1996 से 25-01-1997
𑇐 भारत के पहले और एकमात्र उपराष्ट्रपति जिनकी पद पर रहते हुए मृत्यु हो गई।
11श्री भैरों सिंह शेखावत19-08-2002
से
21-07-2007
𑇐 मुख्यमंत्री (राजस्थान)- 22-06-1977 से 15-02-1980
𑇐 विपक्ष के नेता (राजस्थान विधानसभा)- 15-07-1980 से 30-12-1989
𑇐 मुख्यमंत्री (राजस्थान)- 04-03-1990 से 15-12-1992
𑇐 मुख्यमंत्री (राजस्थान)- 04-12-1993 से 01-12-1998
𑇐 विपक्ष के नेता (राजस्थान विधानसभा)- 08-01-1999 से 18-08-2002
12श्री मो. हामिद अंसारी11-08-2007
से
10-08-2012
𑇐 पद्मश्री- 1984
श्री मो. हामिद अंसारी11-08-2012
से
10-08-2017
13श्री एम. वेंकैया नायडु11-08-2017
से
10-08-2022
14श्री जगदीप धनखड़11-08-2022
से
21-07-2025
𑇐 21वें राज्यपाल (पश्चिम बंगाल)- 30-07-2019 से 18-07-2022
𑇐 भारत के 14वें उपराष्ट्रपति
𑇐 21-07-2025 को स्वास्थ्य कारणों से राज्यसभा सभापति व भारत के उपराष्ट्रपति के पद से इस्तीफा दे दिया है।
15श्री सी. पी. राधाकृष्णन09-09-2025
से
वर्तमान तक
𑇐 यह भारत के 15वें उपराष्ट्रपति हैं।

ऐसे उपराष्ट्रपति जो बाद में भारत के राष्ट्रपति बने-

  1. डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन
  2. डॉ. जाकिर हुसैन
  3. श्री वी.वी. गिरि (श्री वराहगिरि वेंकट गिरि)
  4. श्री आर वेंकटरमन
  5. डॉ. शंकर दयाल शर्मा
  6. श्री के. आर. नारायणन

ऐसे उपराष्ट्रपति जो कार्यकाल पूरा करने से पहले ही पद से हट गए-

  1. श्री कृष्ण कांत- 2002 में निधन
  2. श्री वी. वी. गिरी- राष्ट्रपति बनने के लिए इस्तीफा दे दिया। (1969 में राष्ट्रपति बने)
  3. श्री आर. वेंकटरमन- राष्ट्रपति बनने के लिए इस्तीफा दे दिया। (1987 में राष्ट्रपति बने)
  4. श्री शंकर दयाल शर्मा- राष्ट्रपति बनने के लिए इस्तीफा दे दिया। (1992 में राष्ट्रपति बने)
  5. श्री जगदीप धनखड़- 21 जुलाई, 2025 को स्वास्थ्य कारणों से इस्तीफा दे दिया।

सांसद व विधायक के चुनावों से संबंधित विवाद की सुनवाई उच्च न्यायालय में की जाती है। लेकिन इसका उल्लेख संविधान में नहीं किया गया है।

बहुमत के प्रकार

क्र. सं.प्रकारविशेषताएं
1साधारण बहुमतउपस्थित सदस्यों का बहुमत
2पूर्ण बहुमतकुल सदस्यों का बहुमत
3प्रभावी बहुमततत्कालीन सदस्यों का बहुमत
4विशेष बहुमतउपस्थित सदस्यों का ⅔ या कुल सदस्यों का ½
विशेष :- केवल राष्ट्रपति पर महाभियोग के लिए कुल सदस्यों का ⅔ बहुमत आवश्यक होती है।

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